Haryana: हरियाणा के पलवल में महिला सरपंचों के साथ मीटिंग में पहुंचे, पति, जेठ और देवर,  DC ने निकाला बाहर...

 

Haryana News : हरियाणा के पलवल में बुधवार को टीबी मुक्त बैठक का आयोजन किया गया। मीटिंग में महिला सरपंचों के साथ प्रतिनिधि के रुप में पति,जेठ और देवर पहुंच गए। इस पर डीसी नेहा सिंह नाराज हो गई। उन्होंने नाराजगी जाहिर करते हुए उन्हें मीटिंग से बाहर जाने के निर्देश दिए। 

उन्होंने कहा कि पंचायती राज संस्थाओं की निर्वाचित महिला प्रतिनिधियों की जगह पुरुष प्रतिनिधि किसी भी बैठक में हिस्सा नहीं ले सकते। डीसी ने कहा कि बैठक में पुरुष प्रतिनिधि की जरुरत नहीं है। महिलाएं फैसला लेने में सक्षम है और आगे किसी भी बैठक में महिला की जगह पुरुष शामिल नहीं होगा।

50 प्रतिशत हिस्सेदारी, फिर भी है ये हाल
पंचायती राज संस्थाओं में निर्वाचित महिला प्रतिनिधियों के स्थान पर ज्यादातर उनके बेटे, पति, ससुर, देवर या जेठ प्रतिनिधित्व करते रहे हैं। पंचायती राज संस्थाओं में महिलाओं की 50 प्रतिशत हिस्सेदारी है और निर्वाचित होने के लिए पंच, सरपंच, ब्लॉक समिति व जिला परिषद सदस्य के लिए शैक्षणिक योग्यता निर्धारित की हुई है। 

पढ़ी-लिखी निर्वाचित महिलाएं होने के बाद भी उनके स्थान पर पुरुष काम करते हैं। पारिवारिक और सामाजिक स्तर के साथ-साथ सरकारी कार्यालयों में भी पुरुष प्रतिनिधियों का आना-जाना रहता है। यहां तक कि पंचायती दस्तावेजों पर भी महिलाओं के स्थान पर पुरुष प्रतिनिधि हस्ताक्षर करते हैं। सभी निर्णय पुरुष लेते हैं। महिला प्रतिनिधियों की राय भी नहीं ली जाती है।

ऑफिस में कुर्सी पर बैठते हैं, और साइन भी करते हैं
पंचायती राज संस्थाओं में निर्वाचित महिला प्रतिनिधियों की जगह ज्यादातर उनके बेटे, पति, ससुर, देवर या जेठ प्रतिनिधित्व करते हैं। निर्वाचित महिलाएं पढ़ी- लिखी होने क बाद भी उनकी जगह पुरुष काम करते हैं।

पारिवारिक और सामाजिक स्तर के साथ-साथ सरकारी कार्यालयों में भी पुरुष प्रतिनिधियों का आना-जाना रहता है। यहां तक कि पंचायती दस्तावेजों पर भी महिलाओं के स्थान पर पुरुष प्रतिनिधि हस्ताक्षर करते हैं। सभी निर्णय पुरुष लेते हैं। महिला प्रतिनिधियों की राय भी नहीं ली जाती है।