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गांव नाथूसरी कलां में दहेज के खिलाफ एक मिसाल कायम की, चार बेटियां की शादी में सुसराल पक्ष ने लिया एक रुपया व नारियल

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An example was set against dowry in village Nathusari Kalan, in-laws took one rupee and coconut in the marriage of four daughters
mahendra india news, new delhi

सिरसा जिले के गांव नाथूसरी कलां में दहेज के खिलाफ एक मिसाल कायम की है। गांव में चार बेटियां की शादी के अंदर सुसराल पक्ष ने शादी बिना किसी दान-दहेज के की। शादी की निभाई जाने वाली परंपरा के नाम पर सिर्फ एक रुपये और एक नारियल लिया। 

गांव निवासी खिराज कस्वां की चार पौत्री की शादी बुधवार रात्रि को थी। जिसके लिए चार अलग अलग स्थानों से बरात आई हुई थी। खिराज कस्वां के बेटे शंकरलाल की बेटी गीता की शादी फतेहाबाद जिले के भूथन निवासी दलीप सिंह खिचड़ के बेटे रमेश और पूनम की शादी हनुमानगढ़ जिले के गांव भूकरकां निवासी कृष्ण कुमार ढिल्लों के बेटे संदीप के साथ थी। 
खिराज कस्वां के बेटे मामचंद की बेटी हेमप्रभा की शादी चुरू जिले के गांव कंटेवा निवासी सुभाष कंटेवा के बेटे अमित के साथ व बेटी किरण की शादी हिसार जिले के गांव डाबड़ा निवासी राजपाल के बेटे विक्रम के साथ थी। दुल्हनों के सात फेरों के बाद विदाई के समय हुआ। 

विदाई के समय दुल्हें पक्ष के तरफ से दहेज लेने से मना कर दिया। इसके बाद रस्म में केवल एक रुपया व नारियल ही लिया गया। दुल्हें पक्ष की तरफ से कहा गया कि हर पिता अपनी बेटी को पढ़ा-लिखाकर बड़ा करता है, लेकिन दहेज की चिंता उसे परेशान करती है। हमने समाज को दिखाया कि शादी सादगी और सम्मान से भी हो सकती है। इस अवसर पर गांव के पूर्व सरपंच रणजीत कासनियां, समाजसेवी रघुवीर कड़वासरा, प्रवेश श्योराण व अन्य गणमान्य व्यक्तिमौजूद रहे।