सिरसा जेसीडी विद्यापीठ में अंबेडकर जयंती समारोह का भव्य आयोजन, डॉ. अंबेडकर के विचारों को करें आत्मसात : डॉ. जयप्रकाश

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Ambedkar Jayanti celebrations organized grandly at Sirsa JCD Vidyapeeth, imbibe the thoughts of Dr. Ambedkar: Dr. Jaiprakash
mahendra india news, new delhi

हरियाणा के सिरसा में स्थित JCD विद्यापीठ, सिरसा में भारत रत्न डॉ. भीमराव अंबेडकर की 133वीं जयंती श्रद्धा, सम्मान और उत्साह के साथ मनाई गई। इस अवसर पर आयोजित कार्यक्रम की अध्यक्षता डॉ. जय प्रकाश, महानिदेशक, जेसीडी विद्यापीठ सिरसा ने की। कार्यक्रम में चौधरी देवी लाल विश्वविद्यालय, सिरसा से प्रोफेसर डॉ. राज कुमार (शिक्षा विभाग एवं निदेशक, छात्र कल्याण) तथा प्रोफेसर डॉ. रणजीत कौर विशेष रूप से उपस्थित रहीं। समारोह की शुरुआत डॉ. अंबेडकर की प्रतिमा पर माल्यार्पण एवं पुष्पांजलि अर्पित कर की गई।

डॉ. जय प्रकाश ने अंबेडकर जयंती समारोह में विद्यार्थियों को संबोधित करते हुए डॉ. भीमराव अंबेडकर के जीवन, विचारधारा और भारतीय संविधान में उनके ऐतिहासिक योगदान पर विस्तार से प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि डॉ. अंबेडकर भारतीय संविधान के प्रमुख शिल्पकार थे, जिन्होंने एक ऐसे भारत की कल्पना की थी, जहाँ समानता, सामाजिक न्याय और बंधुत्व जैसे मूल्यों का शासन हो। उनका उद्देश्य एक ऐसा समाज बनाना था, जिसमें हर नागरिक को समान अधिकार प्राप्त हों, चाहे वह किसी भी जाति, धर्म, भाषा या वर्ग से संबंधित हो।

उन्होंने बताया कि भारत का संविधान न केवल आकार में सबसे बड़ा है, बल्कि यह सबसे समावेशी भी है। इसमें समाज के प्रत्येक वर्ग के हितों की सुरक्षा की गई है। यह संविधान 26 जनवरी 1950 को लागू हुआ और इसमें 395 अनुच्छेद, 12 अनुसूचियां तथा 22 भाग सम्मिलित हैं। उन्होंने कहा कि संविधान न केवल नागरिकों को मौलिक अधिकार प्रदान करता है, बल्कि उनके कर्तव्यों की ओर भी ध्यान आकर्षित करता है। यह दस्तावेज भारत की विविधता को एकता में पिरोने वाला आधार है, जो हमारे राष्ट्र की आत्मा को दर्शाता है।

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डॉ. जय प्रकाश ने विद्यार्थियों से आग्रह किया कि वे डॉ. अंबेडकर के विचारों को आत्मसात करें और एक न्यायपूर्ण, समान और समरस समाज के निर्माण में योगदान दें।

डॉ. राज कुमार ने डॉ. अंबेडकर को सामाजिक क्रांति का अग्रदूत बताया और कहा कि उन्होंने शिक्षा को सामाजिक परिवर्तन का सबसे बड़ा माध्यम माना। डॉ. अंबेडकर का पूरा जीवन सामाजिक अन्याय और भेदभाव के विरुद्ध संघर्ष करते हुए बीता। उन्होंने विद्यार्थियों को जीवन में शिक्षा, समर्पण और समानता के सिद्धांतों को अपनाने की प्रेरणा दी।

प्रोफेसर डॉ. रणजीत कौर ने कहा कि डॉ. अंबेडकर के विचारों को आज के समय में प्रासंगिक बताते हुए कहा कि उनके बताए मार्ग पर चलकर ही हम एक बेहतर समाज का निर्माण कर सकते हैं।

समारोह में जेसीडी शिक्षण महाविद्यालय सिरसा के शिक्षकगण, कर्मचारी एवं विद्यार्थी बड़ी संख्या में उपस्थित रहे। सभी ने डॉ. अंबेडकर के सिद्धांतों को जीवन में अपनाने और समाज में फैलाने का संकल्प लिया। कार्यक्रम का समापन राष्ट्रगान के साथ हुआ।

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