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22 मार्च को विश्व जल दिवस: जल के बिना जीवन की कल्पना भी असंभव

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World Water Day on 22 March: Life without water is impossible to imagine
mahendra india news, new delhi

मुख्य वक्ता: नरेश कुमार ग्रोवर (समाजसेवी एवं शिक्षाविद्) ने बताया कि जल है तो कल है – आइए मिलकर इसे बचाएँ 22 मार्च को विश्व जल दिवस के रूप में मनाया जाता है। यह दिवस हमें याद दिलाता है कि जल केवल एक प्राकृतिक संसाधन नहीं, बल्कि जीवन की मूलभूत आवश्यकता है। जल के बिना जीवन की कल्पना भी असंभव है। परंतु विडंबना यह है कि आज विश्व के अनेक हिस्सों में जल संकट गहराता जा रहा है।


मुख्य वक्ता नरेश कुमार ग्रोवर ने समाज के सभी वर्गों से अपील करते हुए कहा कि –हमें अब जागना होगा। जल की एक-एक बूँद कीमती है। जल संरक्षण अब विकल्प नहीं, अनिवार्यता है। छोटी-छोटी आदतें, जैसे नल खुला न छोड़ना, वर्षा जल संचयन करना, रिसाव रोकना और पौधारोपण ये सभी कदम मिलकर जल संकट को रोक सकते हैं।"उन्होंने आगे कहा कि हमें समाज के कोने-कोने तक जल संरक्षण का संदेश पहुंचाना होगा। 


बच्चों, युवाओं, महिलाओं और बुजुर्गों सबको इस अभियान का हिस्सा बनना चाहिए। केवल भाषणों और आयोजनों से नहीं, बल्कि अपने व्यवहार में बदलाव लाकर ही हम इस मिशन को सफल बना सकते हैं।"जल दिवस पर यह संकल्प लें –हम जल का दुरुपयोग नहीं करेंगे।वर्षाजल को बचाने के लिए छतों पर सिस्टम लगाएंगे।जल स्रोतों की सफाई और संरक्षण में भाग लेंगे।दूसरों को भी जागरूक करेंगे।यह सबसे बड़ी और सबसे गंभीर ज़िम्मेदारी है – आने वाली पीढ़ियों के लिए सुरक्षित जल छोड़ना। आइए, इस 22 मार्च को केवल जल दिवस न मानें, बल्कि जल संकल्प दिवस बनाकर इतिहास रचें।जागिए, जुड़िए और जल बचाइए  यही है समय की पुकार।

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